पटना न्यूज डेस्क: कांग्रेस नेता राहुल गांधी आज पटना दौरे पर पहुंचे, जहां उन्होंने स्वतंत्रता सेनानी और दलित नेता स्वर्गीय जगलाल चौधरी की जयंती समारोह में हिस्सा लिया। दिल्ली में वोट डालने के बाद वे सीधे पटना पहुंचे, जहां एसके मेमोरियल हॉल में इस कार्यक्रम का आयोजन किया गया था। इस दौरान उन्होंने जगलाल चौधरी के योगदान को याद किया और बीजेपी व संघ की विचारधारा के खिलाफ लड़ाई जारी रखने की बात कही। साथ ही, उन्होंने जातिगत जनगणना के मुद्दे को भी एक बार फिर से उठाया।
हालांकि, इस कार्यक्रम के दौरान एक बड़ी अनदेखी सामने आई, जिसने सवाल खड़े कर दिए। जगलाल चौधरी की जयंती मनाने के लिए कांग्रेस ने भव्य आयोजन किया, लेकिन उनके बेटे भूदेव चौधरी को ही इसमें आमंत्रित नहीं किया गया। जब वे खुद अपने पिता को सम्मान देने पहुंचे, तो उन्हें मंच पर चढ़ने से रोक दिया गया और राहुल गांधी से मिलने भी नहीं दिया गया। बुजुर्ग भूदेव चौधरी ने कार्यक्रम खत्म होने के बाद मीडिया से बातचीत में अपनी नाराजगी जाहिर की और कहा कि यह उनके पिता के अपमान जैसा है।
इस आयोजन के जरिए कांग्रेस बिहार विधानसभा चुनाव से पहले दलित समाज को जोड़ने की रणनीति बना रही थी, लेकिन स्वर्गीय जगलाल चौधरी के परिवार के इस अपमान ने पूरे कार्यक्रम पर सवाल खड़े कर दिए। भूदेव चौधरी का कहना था कि वह सिर्फ अपने पिता की 130वीं जयंती का हिस्सा बनने आए थे, लेकिन उन्हें मंच पर जाने तक नहीं दिया गया।
स्व. जगलाल चौधरी बिहार के प्रसिद्ध स्वतंत्रता सेनानी और समाज सुधारक थे। पासी समाज से आने के बावजूद उन्होंने महात्मा गांधी और अंबेडकर की विचारधारा पर चलते हुए दलितों के अधिकारों के लिए संघर्ष किया। आजादी के बाद बिहार में बनी कांग्रेस सरकार में वे कैबिनेट मंत्री भी बने। उन्होंने छुआछूत के खिलाफ सत्याग्रह किया और बिहार में पहली बार शराबबंदी लागू करने में अहम भूमिका निभाई थी।